नकल गिरोह के सदस्यों के ठिकाने पर ईडी के छापे, दस्तावेज खंगाले

पेपर बेचकर कमाए गए धन को ईडी ने अपने कब्जे में लेने की शुरू की कार्रवाई 

अविकल उत्तराखंड/देहरादून। प्रवर्तन निदेशालय की टीम ने नकल माफिया के ठिकानों देहरादून, बिजनौर आदि स्थानों पर छापे मारे। पूर्व फारेस्ट चीफ व अधीनस्थ सेवा चयन आयोग के पूर्व अध्यक्ष आर बी एस रावत, हाकम सिंह,चंदन मनराल समेत अन्य अभियुक्तों की प्रॉपर्टी खंगाली।

उत्तराखंड में नकल माफिया की असल कमर अब ईडी की एंट्री के बाद टूटती दिख रही है। क्योंकि, पेपर बेचकर कमाए गए जिस धन से नकल माफिया ने अकूत संपत्ति जोड़ी हैं, उन्हें अब ईडी की देहरादून शाखा ने अपने कब्जे में लेने की कार्रवाई शुरू कर दी है। इस मामले में ईडी की सक्रियता इसलिए भी जरूरी थी, क्योंकि एसटीएफ को नकल माफिया की संपत्तियों का ब्यौरा जुटाने में खासी मुश्किल का सामना करना पड़ रहा था।

यूकेएसएसएससी पेपर लीक प्रकरण में नकल माफिया पर उत्तराखंड पुलिस की स्पेशल टास्क फोर्स (एसटीएफ) ने बड़ी चोट की है। 24 मुख्य आरोपितों को गैंगस्टर एक्ट में निरुद्ध किया गया और कुल 57 आरोपितों को अब तक जेल भेजा चुका है।

उत्तराखंड अधीनस्थ चयन आयोग (यूकेएसएसएससी) की विभिन्न भर्ती परीक्षाओं में पेपर लीक की बात सामने आने के बाद एसटीएफ ने बीते वर्ष जुलाई माह से आरोपितों की गिरफ्तारी शुरू की थी। 24 मुख्य आरोपितों को गैंगस्टर एक्ट में निरुद्ध करने के साथ उनकी संपत्ति को अटैच करने की कार्रवाई भी शुरू की गई। हालांकि, तमाम जतन के बाद अब तक सिर्फ आठ आरोपितों की संपत्ति का आकलन कर छह की संपत्ति अटैच की जा सकी है। आरोपितों के अलग-अलग प्रदेश व राज्य में भी अलग-अलग जिलों से होने के चलते तमाम औपचारिकताओं में एसटीएफ को काफी समय लग रहा है।

दूसरी तरफ ईडी को इस तरह की औपचारिकताओं की जरूरत नहीं पड़ती है। सिर्फ देश में ही नहीं बल्कि ईडी मनी लांड्रिंग एक्ट में कन्वेंशन वाले 150 से अधिक देशों में भी आरोपितों की संपत्ति अटैच कर सकती है। किसी भी माफिया पर सबसे बड़ी चोट उसे भ्रष्टाचार के माध्यम से जोड़ी गई संपत्ति को अटैच कर पहुंचाई जा सकती है। ईडी की एंट्री के बाद अब नकल माफिया पर इसी तरह की चोट मारने की राह खुल गई है।

आरोपित,                        संपत्ति (रु. में)

चंदन सिंह मनराल,           10.57 करोड़

हाकम सिंह रावत,             5.83 करोड़

जयजीत दास,                 51.42 लाख

अंकित रमोला,                40.70 लाख

दीपक शर्मा,                  40.40 लाख

मनोज जोशी,                 11.87 लाख

इन परीक्षाओं में धांधली पर कार्रवाई

  • वर्ष 2021 की स्नातक स्तरीय परीक्षा में धांधली पर 45 आरोपित गिरफ्तार
  • वन दारोगा की वर्ष 2021 की परीक्षा में पांच गिरफ्तारी
  • वर्ष 2016 की ग्राम पंचायत विकास अधिकारी पदों की भर्ती परीक्षा और वर्ष 2021 की सचिवालय रक्षक भर्ती परीक्षा में धांधली पर छह गिरफ्तारी

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