धंसाव से बेघर परिवारों को 4 हजार मासिक किराया छह माह तक,लोनिवि की पीआईयू डिवीजन करेगी क्षति का आंकलन. NDRF की एक बटालियन तैनात करने के निर्देश, पढ़ें विस्तृत फैसले
मुख्यमंत्री ने जोशीमठ में हो रहे भू-धंसाव की उच्चाधिकारियों के साथ की समीक्षा
अविकल उत्तराखण्ड
देहरादून। जोशीमठ भू धंसाव से चिंतित धामी सरकार ने उच्च स्तरीय बैठक में कई निर्णय लिए। सीएम धामी ने जोशीमठ में अस्थायी पुनर्वास, आपदा कंट्रोल रूम बनाने के अलावा डेंजर जोन के ट्रीटमेंट, सीवर तथा ड्रेनेज जैसे कार्य को जल्द से जल्द पूरा
करने को कहा। सीएम ने सभी विभागों के बीवः बेहतर समन्वय पर जोर दिया।
देखें फैसले
जोशीमठ में जारी भू धंसाव से बेघर होने वाले उन परिवारों के लिए किराये के मकान में रहने हेतु धनराशि 4000 रू० /- प्रति परिवार की दर से सहायता राशि दी जाएगी। यह धनराशि छः माह तक मुख्यमन्त्री राहत कोष से पीड़ितों को दी जाएगी। बीते 2 सितम्बर को प्रभारी सचिव एस ए मुरुगेशन की ओर से 4 हजार की धनराशि का आदेश पूर्व में भी जारी हो चुका है।
पीआईयू डिवीजन, लोनिवि, बद्रीनाथ धाम करेगी जोशीमठ भू धंसाव का तकनीकी आंकलन करेगी।
संवेदनशील जोशीमठ में एक एन०डी०आर०एफ० का दल तैनात रहेगा। ताकि सम्भावित घटना के घटित होने पर तत्काल राहत एवं बचाव कार्य किया जा सके।
सचिव आपदा प्रबंधन, आयुक्त गढ़वाल मण्डल और जिलाधिकारी से वीडियो कांफ्रेंसिंग के माध्यम से सीएम ने ली विस्तृत जानकारी
मुख्यमंत्री पुष्कर सिंह धामी ने शुक्रवार को सचिवालय में जोशीमठ शहर के
भू धंसाव से प्रभावित संकटग्रस्त परिवारों के पुनर्वास की वैकल्पिक व्यवस्था एवं भूधंसाव के कारणों आदि के संबंध में उच्चाधिकारियों के साथ समीक्षा
बैठक की।
मुख्यमंत्री ने वीडियो कांफ्रेंसिंग के माध्यम से जोशीमठ की
स्थिति की जानकारी प्राप्त की। उन्होंने भुधंसाव से प्रभावित संकटग्रस्त परिवारों के पुनर्वास की वैकल्पिक व्यवस्था सुनिश्चित करने के निर्देश अधिकारियों को दिये
हैं।
उन्होंने कहा कि संकट की इस स्थिति में जानमाल की सुरक्षा एवं बचाव पर ध्यान देने की जरूरत है। ऐसे समय में लोगों की मदद करना हम सबका दायित्व एवं जिम्मेदारी है। मुख्यमंत्री ने इस स्थिति में लोगों में भरोसा बनाये रखने की भी बात कही। उन्होंने प्रभावित क्षेत्रों में रह रहे लोगों के पुनर्वास तथा उन्हें अन्यत्र शिफ्ट करने में भी तेजी लाये जाने को कहा।
मुख्यमंत्री ने कहा कि हम प्रभावितों को बेहतर से बेहतर क्या मदद कर सकते हैं इस पर ध्यान दिया जाए। मुख्यमंत्री ने कहा कि ऐसे समय में सबसे महत्वपूर्ण होता है लोगों में सरकार और प्रशासन का भरोसा बनाये रखना। इसमें धरातल पर काम करने वाले प्रशासनिक मशीनरी को संवेदनशीलता से काम करना होगा तथा स्थिति पर निगरानी बनाए रखनी होगी। इसके लिये हमें तात्कालिक तथा दीर्घकालीक कार्य योजना पर गंभीरता से कार्य करना होगा।
तात्कालिक एक्शन प्लान के साथ ही दीर्घकालीन कार्यों में भी लंबी प्रक्रिया को समाप्त करते हुए डेंजर जोन के ट्रीटमेंट, सीवर तथा ड्रेनेज जैसे कार्य को जल्द से जल्द पूरा किया जाए, इसमें सरलीकरण तथा त्वरित कार्यवाही ही हमारा सबसे बड़ा मूलमंत्र होना चाहिए। जोशीमठ मामले पर जल्द से जल्द हमारी कार्ययोजना बिल्कुल तय होनी चाहिए।
हमारे लिये नागरिकों का जीवन सबसे अमूल्य है। चिकित्सा उपचार की सभी सुविधाओं की उपलब्धता रहे। जरूरी होने पर एयर लिफ्ट की सुविधा रहे, इसकी भी तैयारी हो।
मुख्यमंत्री ने निर्देश दिये कि तत्काल सुरक्षित स्थान पर अस्थायी पुनर्वास केंद्र बनाया जाए। जोशीमठ में सेक्टर और जोनल वार योजना बनाई जाए। तत्काल डेंजर जोन को खाली करवाया जाए और जोशीमठ में अविलंब आपदा कंट्रोल रूम स्थापित किया जाए। स्थाई पुनर्वास के लिए पीपलकोटी और गौचर सहित अन्य स्थानों पर सुरक्षित जगह तलाशी जाए।
कम प्रभावित क्षेत्रों में भी तत्काल ड्रेनेज प्लान तैयार कर काम शुरू हो। सहायता शिविरों में सभी जरूरी सुविधाएं हों। जिलाधिकारी और प्रशासन स्थानीय लोगों से निरंतर सम्पर्क में रहें। सम्भावित डेंजर जोन भी चिन्हित कर लिये जाएं। समय पर लोगों को सुरक्षित स्थानों पर पहुचाना जरूरी है। इस संबंध में सैटेलाइट इमेज भी उपयोगी हो सकती हैं।
सभी विभाग टीम भावना से काम करे तभी हम लोगों की बेहतर ढंग से मदद करने में सफल होंगे। मुख्यमंत्री ने कहा कि जोशीमठ का धार्मिक एवं सांस्कृतिक महत्व है। यहां पर किये जाने वाले तात्कालिक महत्व के कार्यों को आपदा प्रबंधन नियमों के तहत सम्पादित करने की व्यवस्था बनायी जाय। ऐसे समय में लोगों की आजीविका भी प्रभावित न हो इसका भी ध्यान रखा जाय। लोगों की आपदा मद से जो भी मदद हो सकती है वह की जाय। उन्होंने प्रभावितों की मदद के लिये एसडीआरएफ तथा एनडीआरएफ की पर्याप्त व्यवस्था करने तथा आवश्यकता पड़ने पर हेली सेवा की उपलब्धता सुनिश्चित करने के निर्देश दिये। मुख्यमंत्री ने निर्देश दिये कि मानसून से पहले जोशीमठ में सीवरेज ड्रेनेज आदि के कार्य पूर्ण कर लिये जाय।
सचिवालय में आयोजित बैठक में अपर मुख्य सचिव श्रीमती राधा रतूड़ी, पुलिस महानिदेशक अशोक कुमार, सचिव शैलेश बगौली, सचिव कुर्वे, दिलीप जावलकर, पुलिस महानिरीक्षक एसडीआरएफ सुश्री रिद्विम अग्रवाल आदि के साथ ही वीडियो कांफ्रेंसिंग के माध्यम से आयुक्त गढ़वाल मण्डल श्री सुशील कुमार,सचिव आपदा प्रबंधन डॉ रंजीत सिन्हा जिलाधिकारी चमोली श्री हिमांशु खुराना सहित अन्य अधिकारी मौजूद थे।

दिनांक 06 जून 2023
आपदा से बेघर हुए परिवारों के लिए किराये के मकान में रहने हेतु 4000 रू० प्रति परिवार की दर से सहायता राशि प्रदान किये जाने के संबंध में
महोदय,
कृपया उपर्युक्त विषयक अवगत कराना है कि जनपद के तहसील जोशीमठ की नगर पालिका क्षेत्र जोशीमठ अन्तर्गत विगत दिनों से भू-धसाव हो रहा है तथा वर्तमान तक छः सौ से अधिक भवनों में दरारें दृष्टिगत हुयी हैं। आम जनमानस की सुरक्षा की दृष्टिगत 38 परिवारों को सुरक्षित स्थानों पर अस्थाई रूप से विस्थापित किया गया है। तथा उक्त क्षेत्रान्तर्गत वर्तमान में भी निरन्तर दरारे बढ़ रही है। जिस कारण अधिक संख्या में प्रभावित परिवारों को अस्थाई रूप से सुरक्षित स्थानों पर विस्थापित किया जाना सम्भावित है ।
उक्त के क्रम में शासन के पत्र संख्या: 763/XVIII-B-1/20-04(27)/2010T.C-1 दिनांक 02 सितम्बर, 2020 के द्वारा प्रस्तर संख्या – 02 पर अवगत कराया गया है कि आपदा से प्रभावित ऐसे परिवारों जिनके मकान क्षतिग्रस्त हो जाने के कारण अध्यासन योग्य नहीं रहते हैं अथवा ऐसे परिवार जो बेघर हो जाते हैं उन परिवारों के लिए किराये के मकान में रहने हेतु धनराशि 4000 रू० /- प्रति परिवार की दर से सहायता राशि छः माह तक मा० मुख्यमंत्री राहत कोष से प्रदान की जायेगी।
अतः अनुरोध है कि जनपद की तहसील जोशीमठ की नगर पालिका क्षेत्र जोशीमठ अन्तर्गत बेघर हुए परिवारो हेतु मा0 मुख्यमंत्री राहत कोष से प्रतिमाह 4000.00 की दर से किराये का भुगतान किये जाने की स्वीकृति प्रदान करने का कष्ट करें।
भवदीय,
06.01.2023 (डा० अभिषेक त्रिपाठी) अपर जिलाधिकारी, चमोली

राज्य में अधिसूचित प्राकृतिक आपदा से मानद क्षति / मृत्यु / भवन क्षति की दशा में एस.डी.आर.एफ. मानकों में अनुमन्य राहत राशि के अतिरिक्त दिनांक 01/16/२०२० राहत राशि में वृद्धि किये जाने के सम्बन्ध में।
य जिला अधिकारी नैनीताल
महोदय,
उपर्युक्त विषयक शासनादेश संख्या-2994/XVIII- (2)/2015-04(27/2014 TC. दिनांक 04 जनवरी, 2017 के माध्यम से की गयी व्यवस्था के सम्बन्ध में सम्य विचारोपरान्त शासन स्तर पर लिये गये निर्णय के क्रम में मुझे यह कहने का निदेश harup हुआ है कि उक्त शासनादेश दिनांक 04 जनवरी, 2017 में स्थापित व्यवस्थाओं को Stoकाल प्रभाव से अतिकमित करते हुए एस. डी. आर.एफ. मद में अनुमन्य राहत राशि के ‘जलाधिकारी tool अतिरिक्त निम्नानुसार राहत राशि में वृद्धि किये जाने की श्री राज्यपाल सहर्ष स्वीकृति
DC/CRA
नैनी SDMG प्रदान करते हैं:-
४. आपदा से मृत्यु होने पर एस.डी.आर.एफ द्वारा प्रदान की जा रही चार लाख रूपये की धनराशि के अतिरिक्त मुख्यमंत्री राहत कोष से भी रूपये 01 लाख की धनराशि प्रदान की जायेगी।
आपदा से प्रभावित ऐसे परिवारों जिनके मकान क्षतिग्रस्त हो जाने के कारण अध्यासन योग्य नहीं रहते है अथवा ऐसे परिवार जो बेघर हो जाते हैं उन परिवारों के लिए किराये के मकान में रहने हेतु 04 हजार रूपये प्रति परिवार की दर से सहायता राशि छ माह तक मुख्यमंत्री राहत कोष से प्रदान की जायेगी।
उक्तानुसार राहत राशि में वृद्धि के दृष्टिगत होने वाले व्यय भार के सम्बन्ध में खनन विभाग द्वारा लिये जा रहे राजस्व पर उपकर (स) आरोपित करते हुए एक निधि का गठन किये जाने तथा इसके क्रियाशील होने तक उपरोक्त राहत राशि “मुख्यमंत्री राहत कोष से वहन की जायेगी।
2- यह आदेश वित्त विभाग के अशा पत्र संख्या-77 मतदेय XXVI1(5)-2020-21 दिनांक 28 अगस्त, 2020 में प्राप्त उनकी सहमति से जारी किये जा रहे है।


एन०डी०आर०एफ० के एक दल की तैनाती किये जाने के सम्बन्ध में ।
महोदय,
कृपया उपरोक्त विषयक अवगत कराना है कि जनपद की तहसील जोशीमठ के नगर पालिका जोशीमठ क्षेत्रान्तर्गत विगत दिनों से निरन्तर भूधसाव हो रहा है, जिस कारण 500 से अधिक भवनों पर दरारें दृष्टिगत हुई है। आम जनमानस की सुरक्षा के दृष्टिगत वर्तमान तक 38 परिवारों को सुरक्षित स्थानों पर विस्थापित किया जा चुका है, तथा भूधंसाव निरन्तर बढ रहा है । उक्त के सम्बन्ध में दिनांक 05.01.2023 को आयुक्त महोदय की अध्यक्षता मे आयोजित बैठक में निर्देश दिये गये कि आकस्मिकता के दृष्टिगत स्थान जोशीमठ में एक एन०डी०आर०एफ० के दल की तैनाती की जानी नितान्त आवश्यक होगी, ताकि सम्भावित घटना के घटित होने पर तत्काल राहत एवं बचाव कार्य किया जा सके।
अतएव अनुरोध है उपरोक्त परस्थितियों के मध्यनजर जनपद के स्थान जोशीमठ में एन०डी०आर०एफ० के एक दल की तैनाती करने का कष्ट करें।
भवदीय,
06.01.2023
(डॉ० अभिषेक त्रिपाठी) अपर जिलाधिकारी, चमोली ।

वर्तमान समय में नगर पालिका परिषद जोशीमठ क्षेत्रान्तर्गत लगातार भू- धसांव हो रहा है, जिस कारण स्थानीय निवासियों के भवन / होटल एवं अन्य संरचनाओं में दरारें पड़ गयी है। उक्त भवन / होटल एवं अन्य संरचनाओं के मूल्यांकन हेतु तकनीकी जॉच किया जाना नितांत आवश्यक हो गया है, ताकि प्रभावित परिवारों के भवनों की क्षति के आंकलन की गणना की जा सके
अतः जोशीमठ क्षेत्रान्तर्गत हो रहे लगातार भू- धसांव को दृष्टिगत रखते हुए आपदा प्रबन्धन अधिनियम-2005 की धारा-33 एवं 34 के अन्तर्गत जोशीमठ क्षेत्रान्तर्गत भू- धसांव से प्रभावित परिवारों के भवन / होटल एवं अन्य संरचनाओं के तत्काल तकनीकी आंकलन किये जाने हेतु पी0आई0यू0, डिवीजन, लो०नि०वि०, श्री बद्रीनाथ धाम के समस्त तकनीकी कर्मचारियों, जो श्री बद्रीनाथ धाम मास्टर प्लान में तकनीकी आंकलन का कार्य देख रहे हैं, को अग्रिम आदेशों तक उक्त कार्य हेतु अधिगृहीत किया जाता है ।
06.01.2023
(डॉ० अभिषेक त्रिपाठी) अपर जिलाधिकारी, चमोली ।
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Joshimath Landslide- बीते पचास साल से जोशीमठ में हो रही है भूगर्भीय हलचल
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