पुराने संघी गुरुजी के शक्ति प्रदर्शन से भाजपा के कान खड़े

दून की विशाल जनसभा में हरदा, गोदियाल व हीरा सिंह बिष्ट ने भाजपा पर किये प्रहार

अविकल उत्त्तराखण्ड

देहरादून। कुछ महीने पहले कांग्रेस में आये संघ पृष्ठभूमि से जुड़े महेंद्र नेगी गुरुजी ने रायपुर विधानसभा में विजय शंखनाद के जरिये भाजपा कैम्प को चौंका दिया। एक तरफ भाजपा के राष्ट्रीय अध्यक्ष जेपी नड्डा दून में पार्टी नेताओं से चुनावी रणनीति बना रहे थे। दूसरी तरफ  पुराने संघी गुरुजी का शक्ति प्रदर्शन चल रहा था। 2017 में भाजपा का टिकट नहीं मिलने पर संघी महेंद्र नेगी गुरुजी ने निर्दलीय चुनाव लड़ा था।

देहरादून की रायपुर विधानसभा में तुन वाला रोड मथुरा फॉर्म के प्रांगण में महेंद्र नेगी गुरु जी ने रविवार को एक विशाल जनसभा का आयोजन किया । इस मौके पर हरीश रावत , हीरासिंह बिष्ट व गणेश गोदियाल की मौजूदगी में पार्टी कार्यकर्ताओं ने जोश में नारे लगाए। बड़ी संख्या में महिलाएं उपस्थित रहीं।

गुरुजी की इस जनसभा पर भाजपा की विशेष निगाह थी। इस सीट से भाजपा के उमेश शर्मा विधायक बने। शर्मा 2016 में कांग्रेस से भाजपा में शामिल हुए थे। गुरुजी की जनसभा विधायक उमेश कॉऊ के लिए भी खतरे की घण्टी मानी जा रही है। कॉऊ कि बीते पांच साल पूर्व सीएम त्रिवेंद्र रावत से खटपट चलते रायपुर विधानसभा में विकास कार्य नही हो पाए। यह बात स्वंय विधायक ने कही कि बीते चार साल में होने वाले विकास कार्य अब हो रहे हैं।

ऐसे माहौल में संघ व भाजपा से किनारा कर कांग्रेस में शामिल हुए गुरुजी ने रायपुर विधानसभा में जोरदार जनसभा कर विरोधी दलों को सकते में डाल दिया।

इस मौके पर चुनाव अभियान समिति के अध्यक्ष एवं  पूर्व मुख्यमंत्री हरीश रावत ने कहा कि उत्तराखंड की जनता अब डबल इंजन और प्रचंड बहुमत की भाजपा सरकार की जन विरोधी नीतियों के कारण उस से छुटकारा पाना चाहती है।

रावत ने कहा कि दावे के साथ कहा जा सकता है की 21 साल के उत्तराखंड में कमोबेश जितने भी विकास कार्य ,निवेश एवं जनहितकारी योजनाएं प्रारंभ की गई हैं वह कांग्रेस पार्टी की देन है ।उन्होंने कहा कि आज देश का आम आदमी महंगाई से त्रस्त है तथा व्यापारी वर्ग आर्थिक मंदी झेल रहा है ।100 दिन में महंगाई कम करने का वायदा करने वाली भाजपा सरकार ने महंगाई से प्रदेश की जनता का बुरा हाल कर दिया है।

पेट्रोलियम पदार्थों- डीजल ,पेट्रोल ,रसोई गैस सब्जी ,अनाज, खाद्य तेल के दामों में लगातार हो रही वृद्धि से आम जरूरत की चीजों के दामों में कई गुना बढ़ोतरी हो जाने के कारण आमजन पीड़ित है। कांग्रेस शासन में जिस गैस सिलेंडर के दाम ₹414 प्रति सिलेंडर थे वह भाजपा शासन में बढ़कर 1000₹ पहुंच गया है जिसके कारण आम आदमी दो वक्त की रोटी के लिए संघर्ष कर रहा है ।

नोटबंदी और जीएसटी के अविवेकपूर्ण फैसलों के कारण प्रदेश में लाखों लोगों का कारोबार बर्बाद हो चुका है  मध्यम वर्ग के व्यवसायियों का कारोबार चौतरफा प्रभावित हुआ है ।उत्तराखंड जैसे राज्य में पहली बार तीन व्यापारी आत्महत्या कर चुके हैं ।कांग्रेस सरकार ने खाद्यान्न में एपीएल कार्ड धारकों को ₹5 किलो गेहूं और ₹9 प्रति किलो चावल का प्रावधान किया था ।

इस सरकार ने सत्ता में आते ही उसके दाम बढ़ाकर ₹9 प्रति किलो गेहूं और ₹15 प्रति किलो चावल कर दिया है तथा चावल की मात्रा भी 10 किलो से घटाकर 2 किलो कर दी गई है। मिट्टी का तेल एवं राशन की चीनी पूर्णतया बंद कर दी गई है। कांग्रेस सरकार के शासनकाल में गरीब व्यक्ति को चीनी 13 रूपया 60 पैसे प्रति किलो मिलती थी जो अब गरीब जनता को ₹45 प्रति किलो खरीदनी पड़ रही है ।राशन की दुकानों से भी सस्ता राशन गायब है।


राज्य की जनता ने जिस आशा और विश्वास के साथ भाजपा को भारी बहुमत के साथ डबल इंजन का तोहफा दिया था वही डबल इंजन की सरकार पूरी तरह से बेरोजगारी के मोर्चे पर विफल हो चुकी है ।राज्य के विकास का पहिया पूरी तरह से जाम हो चुका है।

राज्य का बेरोजगार नौजवान इस बात से आशान्वित था कि प्रचंड बहुमत वाली सरकार उनकी बेरोजगारी के मुद्दे का हल निकाल कर रोजगार मुहैया कराकर पलायन को रोकने में सफल साबित होगी ।परंतु आज राज्य की बेरोजगारी दर पूरे देश में शीर्ष पर है। सीएमआईई( सेंटर फॉर मॉनिटरिंग इकनोमिक इंडेक्स) की रिपोर्ट के अनुसार राज्य की बेरोजगारी दर (-22.4 %) हो गई है।बेरोजगारी का यह आंकड़ा पिछले 45 वर्षों में सबसे अधिक है ।

नया रोजगार सृजन करने की बजाय भाजपा की केंद्र सरकार के पिछले 7 वर्ष के कार्यकाल में व्यापक स्तर पर लोग नौकरियों से हाथ धो बैठे हैं ।नोटबंदी एवं जीएसटी के कारण हजारों उद्योग या तो बंद हो चुके हैं या बंदी के कगार पर हैं तथा उन में कार्यरत हजारों नौजवान बेरोजगार हो रहे हैं। बेरोजगारी से तंग आकर साल 2019 में देश भर में 11 हजार के करीब युवक आत्महत्या कर चुके हैं ।राज्य की भाजपा सरकार को साडे 4 वर्ष पूरे हो गए हैं लेकिन किसी भी विभाग में ना तो भर्ती खुली है और ना ही रोजगार के साधन उपलब्ध हो पाए हैं। राज्य सरकार के द्वारा करोड़ों रुपए खर्च करके इन्वेस्टर्स समिट कराया गया जिसका नतीजा सिफर ही रहा ।

राज्य में तीन तीन मुख्यमंत्री  बदले जा चुके हैं हर मुख्यमंत्री रोजगार और स्वरोजगार के क्षेत्र में अपने अलग आंकड़े पेश कर रहा है। पूर्व मुख्यमंत्री त्रिवेंद्र सिंह रावत 7:30 लाख रोजगार देने की बात कर रहे हैं दूसरे पूर्व मुख्यमंत्री तीरथ सिंह रावत 22000 रोजगार की बात करते रहे और अब पुष्कर सिंह धामी कभी 22000 कभी 10 लाख तो कभी एक लाख की बात करते हुए दिखाई पड़ रहे हैं।
पर अगर चारों तरफ नजर दौड़ाये तो प्रदेश का आलम यह है कि हर विभाग का कर्मचारी आंदोलनरत है।

3 महीने तक उपनल और मनरेगा कर्मचारी धरने पर बैठे रहे उनकी मांगों पर भी अभी कोई निर्णय नहीं लिया गया है। एएनएम के 600 पद प्रदेश में रिक्त पड़े है।प्रदेश में नर्सिंग के 2600 पद रिक्त चल रहे हैं जिनकी परीक्षाओं की तिथि 3 बार निकल चुकी है लेकिन आज तक परीक्षाएं नहीं करवाई गई हैं।यूपीसीएल और पिटकुल के 104 पदों को फ्रीज कर दिया गया है । इसे विडंबना ही कहा जा सकता है की 2016 के बाद राज्य में पीसीएस की परीक्षाएं नहीं हो पाई है ।

कार्यक्रम की अध्यक्षता कर रहे प्रदेश कांग्रेस कमेटी के अध्यक्ष गणेश गोदियाल ने कहा कि 2017 से लेकर आज तक राज्य की भाजपा सरकार द्वारा लगातार जनविरोधी फैसले लिए जा रहे हैं। जिनके खिलाफ कांग्रेस पार्टी पहले दिन से आंदोलनरत हैं ।सत्ता के मद में अंधी हो चुकी भाजपा सरकार जन समस्याओं के समाधान के बजाय जन आंदोलनों को कुचलने तथा अपने विरोध में उठने वाली हर आवाज को दबाने का काम कर रही है। राज्य में महिलाएं सुरक्षित नहीं है किसान एवं व्यापारी आत्महत्या कर रहे हैं बेरोजगारों की फौज खड़ी हो रही है।सरकारी कर्मचारी अपनी जायज मांगों को लेकर आंदोलनरत हैं ।महंगाई ने गरीब जनता की कमर तोड़ने का काम किया है। बदहाल स्वास्थ्य एवं शिक्षा व्यवस्था राज्य सरकार की अदूरदर्शिता की परिचायक है। माननीय उच्च न्यायालय द्वारा समय-समय पर प्रदेश सरकार के कार्यकलापों एवं जनविरोधी फैसलों पर कड़ी टिप्पणियां की जाती रही हैं।

पूर्व मंत्री हीरा सिंह बिष्ट ने कहा कि भाजपा सरकार ने विगत साडे 4 वर्षों में राज्य की जनता के साथ जो छलावा कर जनविरोधी नीतियां थोपी हैं उसके परिणाम स्वरूप राज्य का जनमानस भाजपा को प्रचंड बहुमत देने के बावजूद अपने को ठगा सा महसूस कर रहा है।

कांग्रेस प्रवक्ता व गढ़वाल मीडिया प्रभारी गरिमा दसौनी ने भाजपा सरकार को घोटालों की सरकार बताया।

कार्यक्रम का संचालन शीशपाल सिंह बिष्ट एवं राकेश भट्ट द्वारा किया गया। इस अवसर पर भव्य उत्तराखंडी सांस्कृतिक कार्यक्रम भी हुए।

कार्यक्रम में वरिष्ठ नेताओं में हीरा सिंह बिष्ट, पृथ्वी पाल सिंह चौहान,  प्रभु लाल बहुगुणा, गरिमा मेहरा दसौनी, सूरत सिंह नेगी, राजकुमार जयसवाल प्रवीण त्यागी, लालचंद शर्मा, गौरव चौधरी, डॉ आरपी रतूड़ी, विजय गुप्ता ,राकेश भट्ट, गुलशेर मियां, सुनील नौटियाल , शांति रावत, सत्येंद्र पवार, तेजिंदर सिंह रावत ,सत्या पोखरियाल ,देवेश सजवान, एडवोकेट रवी नेगी, नरेंद्र गुरुंग ,अभय दीपक ,संतोष रावत, मुकेश गैरोला ,हिमांशु नेगी, सरिता बिष्ट ,कुसुम कुल्हन, मनिंदर बिष्ट ,बालेंद्र तोमर, सत्यदेव उनियाल, अशोक गुप्ता ,अंकित बिष्ट, पूनम कंडारी ,विवेक रावत, सुभाष रमोला, रोहित नौटियाल, राजेश शर्मा, राजेश डोगरा ,सोनू हसन, महादेव भट्ट, परितोष आदि प्रमुख रूप से शामिल हुए ।

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