Chardham Yatra- श्री केदारनाथ व यमुनोत्री धाम के कपाट शीतकाल के लिए बंद

हेमकुंड साहब के कपाट 10 अक्टूबर व गंगोत्री धाम के कपाट 26 अक्टूबर को बंद हुए.19 नवंबर को श्री बदरीनाथ धाम के कपाट बंद होंगे.चारधाम समेत हेमकुंड में पहुंचे पौने छियालीस लाख श्रद्धालु

• इस यात्रा वर्ष रिकॉर्ड पंद्रह लाख एकसठ हजार से अधिक तीर्थयात्रियों ने भगवान केदारनाथ के दर्शन किये

• सेना की मराठा रेजीमेंट के बैंड की भक्तिमय स्वर लहरियों के बीच तीन हज़ार से अधिक श्रद्धालु कपाट बंद होने के साक्षी बने

प्रधानमंत्री नरेन्द्र मोदी के मार्गदर्शन में भव्य केदारनाथ धाम का पुनर्निर्माण, गौरीकुंड- केदारनाथ रोप वे के बनने से केदारनाथ यात्रा अधिक सुगम हो जायेगी : सीएम धामी

अविकल उत्तराखण्ड

केदारनाथ धाम। भैया दूज के पावन अवसर पर बृहस्पतिवार प्रात: 8 बजकर 30 मिनट पर ग्यारहवें ज्योर्तिलिंग भगवान केदारनाथ के कपाट शीतकाल हेतु बंद हो गये है। इस अवसर पर ढाई हजार से अधिक श्रद्धालु कपाट बंद होने के साक्षी बने। 27 अक्टूबर की दोपहर ही यमुनोत्री धाम के कपाट बंद हुए। 19 नवंबर को बद्रीनाथ धाम के कपाट बंद होंगे।

26 अक्टूबर को गंगोत्री धाम व 10 अक्टूबर को हेमकुंड साहेब के कपाट शीतकाल के लिए बन्द हो चुके हैं। इस साल पौने छियालीस लाख श्रद्धालु चारधाम व हेमकुंड साहेब के दर्शन को आये। Chardham Yatra


गुरुवार की प्रात: तीन बजे केदारनाथ मंदिर खुल गए और चार बजे से कपाट बंद करने की समाधि पूजन प्रक्रिया शुरू हो गयी। पुजारी टी गंगाधर लिंग ने भगवान केदारनाथ के स्वयंभू ज्योर्तिलिंग को श्रृंगार रूप से समाधि रूप दिया गया ज्योर्तिलिंग को बाघंबर, भृंगराज फूल,भस्म, स्थानीय शुष्क फूलों- पत्तों, आदि से ढ़क दिया गया।इसके साथ ही भकुंट भैरव नाथ के आह्वान के साथ ही गर्भगृह तथा मुख्य द्वार को जिला प्रशासन की मौजूदगी में बंद किया गया। इसके साथ ही पूरब द्वार को भी सीलबंद किया गया।


प्रदेश के मुख्यमंत्री पुष्कर सिंह धामी ने श्री केदारनाथ धाम के कपाट बंद होने के अवसर पर तीर्थयात्रियों का आभार जताया। कहा कि इस बार चारधाम यात्रा रिकार्ड पैंतालीस लाख से अधिक श्रद्धालु पहुंचे है। प्रधानमंत्री नरेन्द्र मोदी के मार्गदर्शन में नयी केदार पुरी अस्तित्व में आ चुकी है जहां तीर्थयात्रियों को हर संभव सुविधाएं मुहैया हो रही है। गौरीकुंड- केदारनाथ रोप वे के बनने से केदारनाथ यात्रा अधिक सुगम हो जायेगी।
पर्यटन मंत्री सतपाल महाराज ने कहा कि प्रदेश सरकार के प्रयासों से यात्रा सफलतापूर्वक संपन्न हो रही है।तथा केदारनाथ धाम में भी रिकार्ड श्रद्धालु पहुंचे। kedarnath dham

इस अवसर पर श्री बदरीनाथ- केदारनाथ मंदिर समिति के अध्यक्ष अजेंद्र अजय, पंकज मोदी, मंदिर समिति उपाध्यक्ष किशोर पंवार, जिला प्रशासन पुलिस के अधिकारी, केदारनाथ उत्थान चैरिटेबल ट्रस्ट के संयुक्त सचिव/ मंदिर समिति मुख्य कार्याधिकारी योगेन्द्र सिंह, यात्रा मजिस्ट्रेट गोपाल राम बिनवाल, तहसीलदार दीवान सिंह राणा कार्याधिकारी आरसी तिवारी, धर्माधिकारी औंकार शुक्ला, केदारनाथ सभा अध्यक्ष विनोद शुक्ला, मंदिर समिति मीडिया प्रभारी डा. हरीश गौड़, आदि मौजूद रहे। Hemkund saheb

इस अवसर पर सेना की 11 मराठा लाईट इ़फ्रंट्री रूद्रप्रयाग के बैंड की भक्तिमय धुनों तथा बाबा केदार की जय उदघोष से केदारनाथ धाम गुंजायमान रहा। मंदिर समिति अध्यक्ष अजेंद्र अजय ने कहा कि सामूहिक सहयोग समन्वय से यात्रा का सफलतापूर्वक समापन हुआ है। उन्होंने पर्यटन विभाग, धर्मस्व विभाग, प्रदेश सूचना विभाग, मीडिया जगत के सभी समाचार पत्रों के सम्मानित प्रतिनिधियों, न्यूज चैनलों,चिकित्सा विभाग,सेना आईटीबीपी,सभी जिला प्रशासन, जिला पुलिस प्रशासन,आपदा प्रबंधन एसडीआरएफ, सीमा सड़क संगठन, पीडब्ल्यूडी, परिवहन, विद्युत,संचार, पेयजल, खाद्य आपूर्ति, जिला पंचायत, स्थानीय निकायों, श्री बदरीनाथ- केदारनाथ मंदिर समिति, श्री गंगोत्री मंदिर समिति, श्री यमुनोत्री मंदिर समिति, श्री हेमकुंट साहिब गुरुद्वारा ट्रस्ट, तीर्थ पुरोहित समाज,निजी वाहन कंपनियों, सुलभ इंटरनेशनल सहित यात्रा व्यवस्था से जुड़े सभी एजेंसियों तथा यात्रा प्रशासन संगठन का आभार व्यक्त किया। कहा कि
1561882 (पंद्रह लाख एकसठ हजार आठ सौ बयासी) तीर्थयात्रियों ने भगवान केदारनाथ के दर्शन किये है।

कपाट बंद होने के बाद भगवान केदारनाथ जी की पंचमुखी डोली शीतकालीन गद्दी स्थल श्री ओंकारेश्वर मंदिर उखीमठ के लिए प्रस्थान हुई। आज पंचमुखी डोली प्रथम पड़ाल राम पुर पहुंचेगी। कल 28 अक्टूबर शुक्रवार को देवडोली श्री विश्वनाथ मंदिर गुप्तकाशी प्रवास करेगी तथा 29 अक्टूबर शनिवारको श्री ओंकारेश्वर मंदिर उखीमठ पहुंचेगी।
इसी के साथ इस वर्ष श्री केदारनाथ यात्रा का समापन हो जायेगा तथा पंचकेदार गद्दी स्थल श्री ओंकारेश्वर मंदिर उखीमठ में भगवान केदारनाथ जी की शीतकालीन पूजाएं शुरू हो जायेगी।


इस यात्रा वर्ष चार धाम यात्रा में तैतालीस लाख से अधिक तीर्थ यात्री दर्शन को पहुंचे। हेमकुंट साहिब को मिला कर यह संख्या पौने छयालीस लाख पहुंच गयी।
26 अक्टूबर गौवर्धन पूजा के अवसर पर श्री गंगोत्री धाम के कपाट शीतकाल हेतु बंद हो गये है। आज दोपहर में श्री यमुनोत्री धाम के कपाट शीतकाल हेतु बंद हो जायेंगे।


श्री बदरीनाथ- केदारनाथ मंदिर समिति के मीडिया प्रभारी डा. हरीश गौड़ ने बताया कि 19 नवंबर को श्री बदरीनाथ धाम के कपाट शीतकाल हेतु बंद हो जायेंगे।जबकि श्री हेमकुंट साहिब- लक्ष्मण मंदिर के कपाट 10 अक्टूबर को बंद हो चुके हैं।


द्वितीय केदार तुंगनाथ जी के कपाट 7 नवंबर तथा द्वितीय केदार श्री मद्महेश्वर जी के कपाट 18 नवंबर को बंद हो जायेंगे। इसी के साथ ही इस वर्ष की चार धाम यात्रा का सफल समापन हो जायेगा। अभी तक सवा तैतालीस लाख तीर्थयात्री चारधाम पहुंच गये है। हेमकुंट साहिब को मिलाकर तीर्थयात्रियों की संख्या पौने छयालीस लाख पहुंच गयी।

यमुनोत्री धाम के कपाट बंद


•मां यमुना के जयघोष के साथ श्री यमुनोत्री धाम के कपाट बंद हुए।
• कपाट बंद होने के अवसर पर सैंकड़ों श्रद्धालु मौजूद रहे।
• इस यात्रा वर्ष कुल चार लाख छयासी हजार श्रद्धालुओं ने मां यमुना के दर्शन किये।
• आज प्रात: शनिदेव सोमेश्वर देवता अपनी बहिन यमुना जी को बुलाने खरशाली खुशीमठ से यमुनोत्री धाम पहुंचे ।
• माता यमुना का मायका है खरसाली (खुशीमठ)
• छ: माह मां यमुना की शीतकालीन पूजा खुशीमठ में संपन्न होगी।
यमुनोत्री/खरशाली( खुशीमठ)/ उत्तरकाशी: 27 अक्टूबर। उत्तराखंड के चार धामों में विशिष्ट महत्व रखनेवाले श्री यमुनोत्री धाम के कपाट विधि- विधान से समारोह पूर्वक आज अपराह्न 12 बजकर 09 मिनट पर शीतकाल हेतु बंद हो गये हैं। उल्लेखनीय है कि मां यमुना मृत्यु के देवता धर्मराज की बहिन हैं मां यमुना के दर्शन मात्र से प्राणियों में मृत्यु भय समाप्त हो जाता है।
मान्यता है कि भैया दूज के दिन यम देव अपनी बहिन यमुना जी को मिलने पृथ्वी लोक तक आते हैं। कहते हैं कि मां यमुना को यम देव ने वरदान दिया था कि भैया दूज के दिन जो भाई अपनी बहिन का आदर -सत्कार करेगा उसके संताप मिट जायेंगे। वह मृत्यु भय तक से मुक्त हो जायेगा। मां यमुना के एक भाई शनि देव भी है।
आज श्री यमुनोत्री धाम के कपाट बंद होने की प्रक्रिया में यमुना जी के भाई शनिदेव श्री सोमेश्वर देवता खरशाली से डोली में बैठकर अपनी बहिन को मायके बुलाने यमुनोत्री धाम पहुंचे।
इसी के साथ मां यमुना की स्तुति के साथ ही विधि-विधान से यमुनोत्री धाम के कपाट शीतकाल हेतु बंद हो गये।
प्रदेश के मुख्यमंत्री पुष्कर सिंह धामी ने यात्रा के सफल संचालन के लिये सभी संबंधित को बधाई दी है।
कपाट बंद होने के बाद मां यमुना जी की उत्सव डोली शनिदेव सोमेश्वर देवता की डोली के साथ शीतकालीन प्रवास खरशाली( खुशीमठ) रवाना हो गयी तथा अपने शीतकालीन प्रवास में विराजमान हो गयी है।
इस यात्रा वर्ष 4 लाख 86 हजार तीर्थयात्रियों ने यमुनोत्री धाम के दर्शनों का पुण्य अर्जित किया।
अवसर पर श्री यमुनोत्री मंदिर समिति के पूर्व उपाध्यक्ष पवन उनियाल, सचिव सुरेश उनियाल, उपाध्यक्ष राजस्वरूप उनियाल, संदीप शास्त्री जी,प्रदीप उनियाल,प्रह्लाद उनियाल, तहसीलदार बड़कोट शिशुपाल सिंह असवाल, प्रधान‌ यशपाल राणा पदाधिकारीगण एवं पुलिस -प्रशासन के प्रतिनिधि मौजूद रहे।
कल 26 अक्टूबर श्री गंगोत्री धाम के कपाट शीतकाल हेतु बंद हुए ।आज भैयादूज के अवसर पर श्री केदारनाथ धाम एवं श्री यमुनोत्री धाम के कपाट शीतकाल हेतु बंद हुए। 19 नवंबर को श्री बदरीनाथ धाम के कपाट शीतकाल हेतु बंद हो जायेंगे। जिलाधिकारी अभिषेक रूहेला तथा पुलिस अधीक्षक अर्पण यदुवंशी ने यमुनोत्री यात्रा के सफल संचालन को सभी संबंधित विभागों को धन्यवाद ज्ञापित किया है। उल्लेखनीय है कि उत्तराखंड पुलिस बड़कोट – उत्तरकाशी ने यमुनोत्री धाम यात्रा के दौरान दिन-रात योगदान देकर यात्रा को निविघ्न संपन्न कराया।

गंगोत्री धाम के कपाट बंद

विश्व प्रसिद्ध श्री गंगोत्री धाम के कपाट शीतकाल के लिये बन्द

• हजारों श्रद्धालुओं ने कपाट बंद होने के अवसर पर ग़ंगा मैया के दर्शन किए।

अविकल उत्तराखण्ड

गंगोत्री/ उत्तरकाशी: उत्तराखंड के चारधामों में प्रसिद्ध श्री गंगोत्री धाम के कपाट आज बुद्धवार अन्नकूट के पावन पर्व पर अपराह्न 12:01 बजे वैदिक मंत्रोच्चार पूजा -अर्चना के साथ विधि-विधान से शीतकाल के लिए बंद हो गये।
इस अवसर पर हजारो श्रद्धालु कपाट बंद होने के साक्षी बने।
मां गंगा की उत्सव डोली समारोहपूर्वक जयकारों के साथ मुखबा गांव के लिए रवाना हुई। मां गंगा का रात्रि विश्राम आज मां चंडी देवी(मार्कण्डेय पुरी) मन्दिर में होगा। कल मां गंगा की उत्सव डोली भैया दूज के पर्व पर अपने मायके मुखबा (मुखीमठ) पहुंचेगी। शीतकाल में मां गंगा के शीतकालीन प्रवास मुखबा स्थित गंगा मंदिर में पूजा-अर्चना होगी।

इस यात्रा वर्ष 6 लाख 25 हजार से अधिक श्रद्धालुओं ने माँ गंगा के दर्शन किये। इस अवसर पर गंगोत्री विधायक सुरेश चौहान, गंगोत्री मंदिर समिति के रावल हरीश सेमवाल, सचिव सुरेश सेमवाल, सहित बड़ी संख्या में तीर्थपुरोहित, जन प्रतिनिधिगण एवं श्रद्धालुजन मौजूद रहे।

जिलाधिकारी उत्तरकाशी अभिषेक रूहेला तथा पुलिस अधीक्षक अर्पण यदुवंशी ने गंगोत्री धाम की यात्रा के समापन अवसर सभी श्रद्धालुओं का आभार जताया है। श्री बदरीनाथ-केदारनाथ मंदिर समिति के मीडिया प्रभारी डा.हरीश गौड़ ने बताया कि कल 27अक्टूबर भैयादूज के अवसर पर श्री केदारनाथ धाम एवं श्री यमुनोत्री धाम के कपाट बंद होंगे तथा 19 नवंबर को श्री बदरीनाथ धाम के कपाट शीतकाल हेतु बंद हो रहे है। gangotri dham

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