होम आइसोलेशन में रह रहे मरीजों को मेडिकल काउंसलर देंगे सलाह,देखें आदेश

अविकल उत्त्तराखण्ड


होम आइसोलेशन मरीजों को मेडिकल काउंसलर देंगे सलाह, SOP जारी,DM को भेजा पत्र

स्वास्थ्य सचिव अमित नेगी ने मरीजों के स्वास्थ्य मानीटरिंग उद्देश्य से मानक संचालनात्मक प्रक्रिया निर्धारित की ।

Medical counselor को फोन बिल के भुगतान, दस्तावेजों के रख-रखाव एवम् अन्य खर्चों हेतु प्रतिमाह ₹1000 (रूपये एक हजार मात्र) reimbursement के रूप में अतिरिक्त देय होंगे।

ऑनलाइन परीक्षण के लिए समिति का गठन।
1) कुलपति, मेडिकल यूनिवर्सिटी उत्तराखण्ड ।
(2) प्राचार्य, दून मेडिकल कॉलेज, देहरादून (3) डॉ० पंकज सिंह, हेड, आई०डी०एस०पी०

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देहरादून। अस्पतालों में बेड की किल्लत व अन्य सुविधाओं के अभाव में केंद्र व प्रदेश सरकार की ओर से होम आइसोलेशन को बढ़ावा दिए जाने के बाद स्वास्थ्य विभाग ने ऐसे मरीजों की सुध लेने के लिए मेडिकल कॉउंसलर मदद करेंगे।

उत्त्तराखण्ड में होम आइसोलेशन में रह रहे कोरोना मरीजों की मेडिकल काउंसलर फोन से उनके स्वास्थ्य का हालचाल लेंगे और चिकित्सा के बाबत सलाह देंगे। स्वास्थ्य सचिव अमित नेगी SOP जारी करते हुए सभी DM को एक पत्र भी भेजा है।

पत्र में कहा गया है कि राज्य में बढ़ती कोविड रोगियों की संख्या के कम में होम आइसोलेशन में रहकर उपचार लेने वाले रोगियों की संख्या में अत्यधिक वृद्धि हो रही है। पूर्व में होम आइसोलेशन में उपचार लेने वाले रोगियों को कॉल सैन्टर के द्वारा समय-समय पर फोन करते हुये उनकी सेहत व जरूरत के सम्बन्ध में जानकारी प्राप्त कर ली जाती रही है, किन्तु शासन के संज्ञान में लाया गया है कि होम आइसोलेशन में उपचार ले रहे रोगियों को किसी Medical counselor के माध्यम से परामर्श उपलब्ध कराना भी प्रभावी उपचार के लिए आवश्यक होगा।

अतः होम आइसोलेशन की संस्तुति किये गये रोगियों को समय से होम आइसोलेशन किट का वितरण हो रहा है अथवा नहीं यह ज्ञात करने एवं उन्हें बुनियादी मेडिकल कॉउन्सलिंग उपलब्ध कराये जाने के उद्देश्य से एवं इन मरीजों के स्वास्थ्य मानीटरिंग उद्देश्य से मानक संचालनात्मक प्रक्रिया निर्धारित की गई है।

● किसी भी प्रकार के कोविड टेस्ट में पॉजिटिव पाए गए रोगियों की सूची स्वास्थ्य विभाग द्वारा प्रतिदिन नोडल अधिकारी होम आइसोलेशन एवं संबंधित जनपद के जिलाधिकारी को उपलब्ध करायी जायेगी।

• जिलाधिकारी द्वारा प्रत्येक होम आइसोलेशन में रखे गये रोगियों को एक Medical counselor आवंटित किया जाएगा। इस आवंटन में निर्धारित किये गये Medical counselor का नाम एवं फोन नम्बर की जानकारी देंगे।

जनपद में तैनात एलोपैथिक चिकित्सक / फार्मासिस्ट / नर्सिंग स्टाफ, आयुष चिकित्सक / फार्मासिस्ट अथवा नर्सिंग स्टाफ, दन्त चिकित्सक प्रदेश के राजकीय विभिन्न मेडिकल कॉलेज (आयुष / एलोपैथिक) के पी०जी० स्कॉलर्स, राजकीय मेडिकल कॉलेज ( आयुष / एलोपैथिक) के ऐसे स्टाफ जो यह कार्य करने हेतु सक्षम हो तथा उक्त योग्यता धारण करने वाले सेवानिवृत्त अथवा निजी क्षेत्र में कार्य करने वाले व्यक्ति इनकी सूची जिलेवार नोडल अधिकारी Human Resource Management द्वारा जिलों को उपलब्ध करायी जायेगी। जिलाधिकारी इस सूची में उल्लेखित अथवा अन्य जिले में उपलब्ध Medical counselor का आवंटन प्रत्येक रोगी को उसके निवास स्थान का विचार करते हुए करेंगे।

एक Medical counselor को प्रतिदिन की मानीटरिंग हेतु अधिकतम 50 रोगियों तक की संख्या को ही सीमित करने का प्रयास किया जायेगा।

• Medical counselor द्वारा उक्त रूग्णों से प्रतिदिन दूरभाष पर अथवा वीडियोकॉल के माध्यम से पूर्व में निर्धारित प्रोटोकाल के आधार पर रोगी की स्वास्थ्य सम्बन्धी जानकारी ली जायेगी एवं उसे आवश्यकतानुसार चिकित्सा परामर्श व पूर्व निर्धारित प्रशिक्षण / प्रोटोकॉल द्वारा दी गई जानकारियों का संकलन संबंधित Medical counselor द्वारा रखा जायेगा।

Medical counselor यह सुनिश्चित करेगा कि उक्त रूग्ण को उसके निवास स्थान पर होम आइसोलेशन किट अथवा जहां यथासम्भव आयुष किट उपलब्ध करा दी गयी है।

• किसी रोगी के स्वास्थ्य में गिरावट होने की स्थिति में Medical counselor द्वारा सम्बन्धित जिलो के कोविड कन्ट्रोल सैन्टर एवं सम्बन्धित ग्राम स्तरीय कोविड निगरानी समिति को सूचित कर दिया जायेगा।

• जिलास्तरीय कोविड कन्ट्रोल सैन्टर की यह जिम्मेदारी होगी कि

मेडिकल सलाह के अनुसार दवाइयों एवं उपचार की व्यवस्था करेंगे

एवं जहां आवश्यक हो एम्बुलेंस के माध्यम से प्रभावित रोगी को कोविड सेन्टर अथवा DCH में अग्रिम उपचार हेतु स्थानान्तरित करेंगे।

● किसी रोगी का आइसोलेशन अवधि पूर्ण होने के उपरान्त (10 दिन Medical counselor उनमें स्वास्थ्य सम्बन्धी पैरामीटर सुरक्षित की दशा में उनकी मानीटरिंग समाप्त कर देगें। उस रोगी विशेष

समाप्ति की सूचना दी जायेगी एवं रोगी के सन्दर्भ में आवश्यक सूचनाऐं सम्बन्धित Medical counselor अपने पास सुरक्षित रखेगें।

• प्रत्येक Medical counselor द्वारा रोगी के स्वास्थ्य की रिपोर्टिंग कॉल सेन्टर से आये फोन पर की जायेगी। यह रिपोर्टिंग हर पूरे दस दिन के मॉनिटरिंग समय काल में किसी भी रोगी विशेष हेतु दूसरे दिन, छटवे दिन एवं ग्यारहवे दिन पर होगी।

• प्रत्येक जनपद के Medical counselor की सहायता हेतु जनपद स्तरीय विशेषज्ञ चिकित्सक को नोडल अधिकारी नामित किया जायेगा, उक्त विशेषज्ञ चिकित्सक जिले के कन्ट्रोल रूम में उपलब्ध रहेगें एव Medical counselor द्वारा सन्दर्भित किये गये रागियों के सन्दर्भ में स्वास्थ्य सम्बन्धी परामर्श देंगे।

• रोगियों को आवंटित किए जाने से पूर्व प्रत्येक Medical counselor के द्वारा ऑनलाईन परीक्षण कराया जायेगा, जिसकी जिम्मेदारी निम्न समिति की होगी:

(1) कुलपति, मेडिकल युनिवर्सिटी, उत्तराखण्ड । (2) प्राचार्य, दून मेडिकल कॉलेज, देहरादून।
(3) डॉ० पंकज सिंह, हैड, आई०डी०एस०पी० । प्रशिक्षण हेतु वीडियो फिल्म बनाकर Share कर दी जाएगी।

• स्वास्थ्य Medical counselor को टेलिफोन बिल के भुगतान, दस्तावेजों के रख-रखाव एवम् अन्य खर्चों हेतु प्रतिमाह ₹1000 (रूपये एक हजार मात्र) reimbursement के रूप में अतिरिक्त देय होंगे।

• स्थानीय आवश्यकतानुसार जिलाधिकारी इस व्यवस्था में सुसंगत परिवर्तन करने हेतु सक्षम होंगे।

इस व्यवस्था के केन्द्रीकृत पर्यवेक्षण की जिम्मेदारी नोडल अधिकारी / होम आइसोलेशन की होगी।

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