जिला उपभोक्ता आयोग में शत-प्रतिशत हिन्दी में कार्य होगा

उपभोक्ता फोरम/आयोग में बीमा, बैंक व बड़़ी कम्पनियों द्वारा अंग्रेजी में कागज फाइल करने की शिकायत पर लिया फैसला

टैक्स, उपभोक्ता, मानवाधिकार विधिज्ञ समिति की शिकायत अध्यक्ष राजीव कुमार खरे ने  किया आश्वस्त

अविकल उत्तराखंड

काशीपुर। जिला उपभोक्ता आयोग, उधमसिंह नगर की कार्यवाही में शत‘-प्रतिशत कार्य हिन्दी में होगा। इससे उपभोक्ताओं को भारी राहत मिलेगी और अधिकतर उपभोक्ताओं को अपने कैसों की कार्यवाही समझ में आयेगी।

 जिला उपभोक्ता आयोग उधमसिंह नगर के अध्यक्ष राजीव कुमार खरे ने यह आश्वासन उपभोक्ता आयोेग में शत-प्रतिशत कार्य हिन्दी में कराया जाना सुनिश्चित कराने की मांग को लेकर टैक्स उपभोक्ता मानवाधिकार विधिज्ञ समिति के अध्यक्ष नदीम उद्दीन एडवोकेट द्वारा शत-प्रतिशत हिन्दी प्रयोग की मांग को लेकर दिये गये ज्ञापन पर दिया।

टैक्स उपभोक्ता मानवाधिकार विधिज्ञ समिति के अध्यक्ष नदीम उद्दीन (एडवोकेट) ने जिला उपभोक्ता आयोग के अध्यक्ष राजीव कुमार खरे को जिला उपभोक्ता आयोग ने समस्त कार्य संवैधानिक व कानूनी प्रावधानों के अनुसार राजभाषा हिन्दी में कराना सुनिश्चित कराने का निवेदन करते हुये ज्ञापन दिया। इस पर खरे ने समिति अध्यक्ष  नदीम को आश्वस्त किया कि जिला उपभोक्ता आयोग में हिन्दी के प्रावधानों का पूर्ण पालन सुनिश्चित कराया जायेगा। इससे उपभोक्ताओं को भारी राहत मिलेगी और उपभोक्ताओं को उनकी भाषा में न्याय मिलेगा। 

Hindi-Memo_Scanned_11-29-2024-12.23

नदीम द्वारा दिये ज्ञापन के अनुसार उत्तराखंड में 07 जनवरी 2010 से लागू उत्तराखण्ड राजभाषा अधिनियम 2009 (अधिनियम सं0 14 सन 2010)  की धारा 2 के अनुसार राज्य की राजभाषा देवनागरी लिपि में हिन्दी है तथा इससे पूर्व उ0प्र0 राजभाषा अधिनियम 1951 के अन्तर्गत भी उत्तराखंड राज्य की राजभाषा उत्तराखण्ड गठन से ही हिन्दी है। इसके अतिरिक्त वर्तमान में सुप्रीम कोर्ट हिन्दी सहित विभिन्न क्षेत्रीय भाषाओं में अपने निर्णय की प्रतियां उपलब्ध करा रहा है, वही भारतीय संविधान के अनुच्छेद 348(2) के अन्तर्गत उत्तराखंड सहित वैकल्पिक रूप से हिन्दी में कार्य करने को अधिकृत उच्च न्यायालयों में हिन्दी में कार्य करने को बढ़ावा दिया जा रहा है,। 

उत्तराखण्ड उच्च न्यायालय ने अपने रिट पिटीशन संख्या 2130 सन 2009 में दिये गये निर्णय दिनांकित 27.03.2010 में ही उपभोक्ता आयोग में राजभाषा हिन्दी के प्रयोग के प्रावधानों को स्पष्ट करते हुये इसे राज्य व जनहित में उपयोगी बताया है। परन्तु जिला उपभोक्ता फोरम/आयेग में विशेष रूप से विभिन्न विपक्षियों (बीमा कम्पनियों, बैंकों, कम्पनियों आदि) द्वारा अपने अभिवचन, प्रार्थनापत्र आदि अंग्रेजी में फाइल किये जा रहे हैं जिसे सामान्य उपभोक्ताओं को पढ़ने व समझने में कठिनाई होती है। इससे उपभोक्ता हित व जनहित प्रभावित होते है। इसलिये व्यापक उपभोक्ता हित व जनहित मे उपभोक्ता आयोग की कार्यवाहियों में शत प्रतिशत राजभाषा हिन्दी का प्रयोग सुनिश्चित कराया जाना आवश्यक है।

Total Hits/users- 30,52,000

TOTAL PAGEVIEWS- 79,15,245

Leave a Reply

Your email address will not be published. Required fields are marked *