आंचलिक विज्ञान केंद्र में मनाया गया राष्ट्रीय अंतरिक्ष दिवस

अविकल उत्तराखण्ड

देहरादून। उत्तराखंड राज्य विज्ञान एवं प्रौद्योगिकी परिषद (यूकॉस्ट) ने आंचलिक विज्ञान केंद्र (आरएससी), देहरादून में राष्ट्रीय अंतरिक्ष दिवस बड़े उत्साह के साथ मनाया।

इस कार्यक्रम में मुख्य अतिथि वैज्ञानिक/इंजीनियर ममता चौहान, भारतीय सुदूर संवेदन संस्थान (आईआईआरएस) रही। कार्यक्रम की शुरुआत यूकॉस्ट के वरिष्ठ वैज्ञानिक अधिकारी डॉ. पीयूष जोशी के स्वागत उद्बोधन से हुई, जिन्होंने “भारत की अंतरिक्ष गाथा” विषय के अंतर्गत अपने विचार व्यक्त किये।

साइंस सिटी के सलाहकार जी.एस. रौतेला ने विज्ञान के क्षेत्र में अपने व्यावहारिक अनुभवों से दर्शकों को अवगत कराया। उन्होंने अंतरिक्ष विज्ञान और प्रौद्योगिकी में भविष्य की संभावनाओं की जानकारी और उपलब्ध अवसरों के बारे मे छात्र- छात्राओं को बताया ।

कार्यक्रम की मुख्य अतिथि वैज्ञानिक/इंजीनियर ममता चौहान, ने दर्शकों को चंद्रयान मिशन के सभी पहलुओ और विभिन्न शोध कार्यो की जानकारी दी । उन्होंने चंद्रयान-1, 2 और 3 मिशन की विस्तृत जानकारी, इसके प्रमुख वैज्ञानिक निष्कर्षों और मिशन के दौरान आने वाली चुनौतियों पर चर्चा की।

कार्यक्रम में भारत के अंतरिक्ष इतिहास के गौरवशाली पलों को याद करते हुए, 2023 में चंद्रमा के दक्षिणी ध्रुव पर चंद्रयान के सफल प्रक्षेपण को प्रदर्शित करने वाली एक लघु फिल्म भी प्रदर्शित की गई।

यूकॉस्ट के महानिदेशक प्रोफेसर दुर्गेश पंत ने कहा कि यह दिन हम सभी के लिए एक त्योहार की तरह है, और हम अपने वैज्ञानिकों के समर्पण और कड़ी मेहनत को सलाम करते हैं जिन्होंने इन उपलब्धियों को संभव बनाया है। यूकॉस्ट के वैज्ञानिक अधिकारी डॉ. मनमोहन रावत ने जीपीएस तकनीक और उसके अनुप्रयोग पर व्याख्यान प्रस्तुत किया। डॉ. मनमोहन रावत और  संतोष रावत यूकॉस्ट द्वारा जीपीएस हैंडलिंग पर प्रदर्शन का संचालन भी किया गया।  जितेंद्र कुमार और  विकास नौटियाल, यूकास्ट द्वारा परिषद और अगस्त्या फाउंडेशन के लैब ओन व्हील और स्टेम कार्यक्रम पर प्रस्तुतिकरण दिया गया। इस कार्यक्रम में एक प्रश्नोत्तरी प्रतियोगिता भी आयोजित किया गया, जिसमें जेबीआईटी, तुलाज इंस्टीट्यूट और माया कॉलेज ऑफ फार्मेसी सहित विभिन्न संस्थानों के छात्रों ने बड़े उत्साह के साथ भाग लिया। विजेताओं को पुरस्कार भी वितरित किए गए। कार्यक्रम का समापन इंजीनियर जितेंद्र कुमार के धन्यवाद प्रस्ताव के साथ हुआ। उन्होंने कार्यक्रम को सफल बनाने के लिए सभी प्रतिभागियों, अतिथियों और आयोजनकर्ताओं का आभार व्यक्त किया। कार्यक्रम का संचालन यूकॉस्ट की वैज्ञानिक अधिकारी श्रीमती जागृति उनियाल द्वारा किया गया। इस कार्यक्रम में विभिन्न संस्थानों के छात्रों और शिक्षकों, परिषद और आंचलिक विज्ञान केन्द्र के अधिकारियो और कर्मचारियों ने प्रतिभाग किया ।

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